सरकार द्वारा शिक्षा व्यवस्था के साथ हो रहे अन्याय के विरुद्ध NSUI का आंदोलन “नशा नहीं शिक्षा और नौकरी दो”

NSUI कवर्धा जिला अध्यक्ष ने कहा :- कि प्रदेश में 10463 स्कूलों का युक्तिकरण: शिक्षा के अधिकार पर हमला है,सरकार ने “युक्तिकरण” के नाम पर 10463 स्कूल एवं कबीरधाम जिला में 375 स्कूल बंद करने की नीति अपनाई है।ये वही सरकार है जो “मोदी गारंटी” में 57000 शिक्षकों की भर्ती की बात कर रही थी।जब शिक्षकों की भर्ती की बात थी तो वादे किए गए, लेकिन अब स्कूलों को ही खत्म किया जा रहा है।यह कदम ग्रामीण, गरीब, आदिवासी और दूरस्थ क्षेत्रों के बच्चों के शिक्षा के अधिकार पर सीधा हमला है।

सवाल यह उठता है कि जब स्कूल ही नहीं रहेंगे तो 57000 शिक्षक कहाँ, कब और क्यों भर्ती किए जाएंगे?57000 पदों पर भर्ती की मांग: मोदी गारंटी को निभाने की चुनौती है, NSUI की स्पष्ट मांग है कि सरकार 57000 शिक्षकों की भर्ती की घोषणा को केवल “चुनावी जुमला” न बनाए।भर्ती प्रक्रिया 2008 के सेटअप के अनुसार पारदर्शी ढंग से और बिना किसी छेड़छाड़ के की जाए।अगर सरकार में इच्छाशक्ति है तो वह इस भर्ती प्रक्रिया को तत्काल प्रारंभ करे।अगर भाजपा सरकार अपने वादों पर खरा नहीं उतरती, तो यह युवाओं के साथ धोखा और विश्वासघात होगा।

NSUI जिला संगठन प्रभारी व महासचिव अमन वर्मा ने कहा :–यह स्पष्ट है कि सरकार की प्राथमिकता शिक्षा नहीं, केवल आंकड़ेबाजी और दिखावा है। साथ ही प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल जी ने कहा था कि आत्मानंद स्कूल के शिक्षकों की जल्द ही नियमित किया जाएगा, नियमितीकरण तो दूर प्रदेश के कई स्कूलों में शिक्षकों को समय पर वेतन तक नहीं मिल रहा है।युक्तिकरण के नाम पर स्कूल बंद करना आरटीई (RTE) कानून का उल्लंघन है,सरकार द्वारा युक्तिकरण के बहाने जो 10000 से अधिक स्कूल बंद किए जा रहे हैं, वह केवल प्रशासनिक निर्णय नहीं, बल्कि कानूनी और संवैधानिक उल्लंघन भी है।भारतीय संविधान की धारा 21-A और ‘मुफ्त और अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम, 2009 (RTE Act, 2009)’ के तहत “हर बच्चे को 6 से 14 वर्ष की आयु तक मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा प्रदान करना राज्य का दायित्व है।”RTE अधिनियम की धारा 3, 4 और 6 यह स्पष्ट रूप से कहती हैं कि प्रत्येक बच्चे को उसके निकटतम प्राथमिक विद्यालय में प्रवेश और शिक्षा का अधिकार है।ऐसे में स्कूलों को बंद करना न सिर्फ गरीब और ग्रामीण बच्चों को शिक्षा से वंचित करना है, बल्कि RTE अधिनियम की मूल भावना का उल्लंघन भी है।भाजपा सरकार एक तरफ 67 नए शराब दुकान खोल रही है, 28 एवं 29 मार्च 2025 को नए आबकारी नियम के तहत प्रदेश में एफ.एल. 5 एवं एफ.एल. 5(क)  के तहत प्रतिदिन लाइसेंस उपलब्ध करवाने का काम कर रही है और दूसरी तरफ प्रदेश में 10463 स्कूलों का युक्तिकरण कर बंद कर रही है, प्रदेश के युवाओं को नौकरी के नाम पर सिर्फ और सिर्फ जुमले और खोखले वादे मिल रहे है, ऐसा प्रतीत होता है कि प्रदेश की साय सरकार प्रदेश के छात्र एवं युवा वर्ग को शिक्षा व रोजगार के जगह नशे के लिए प्रेरित कर रही है।29 मार्च 2025 को आबकारी विभाग द्वारा जारी पत्र में ये साफ उल्लेखित किया गया है, शादी,फार्म हाउस,इवेंट,कंसर्ट,संगीत,नृत्य कार्यक्रम, नव वर्ष समारोह सहित क्रिकेट मैच तक में शराब परोसने एवं पीने हेतु प्रतिदिन के डर से लाइसेंस प्रदान करने तैयार है, ये भाजपा सरकार की दोहरी नीति स्पष्ट करता है।

NSUI युक्तिकरण जैसे “शिक्षा विरोधी” फैसले का कड़ा विरोध करती है एवं मांग करती है कि युक्तिकरण के फैसले को तत्काल प्रभाव से वापस लिया जाए। इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से युवा कांग्रेस के जिला महासचिव राहुल सिन्हा,कवर्धा शहर अध्यक्ष मेहुल सत्यवंशी, पिपरिया शहर अध्यक्ष ऋषभ वैष्णव, जिला महासचिव प्रवीण वर्मा, जलेश यादव, तुकेश कौशिक, परसा वर्मा, शिवेंद्र वर्मा,एनएसयूआई ……एवं एनएसयूआई कार्यकर्ता उपस्थित रहे!

दाई-बाबा दिवस” का आयोजन आयुष्मान आरोग्य मंदिर टेमरी में संपन्न हुआ।

आम जनता को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के लिए हेल्थ मेला का आयोजन किया जा रहा है इसी तारतम्य मे बुधवार, दिनांक 4 जून 2025 को आयुष्मान आरोग्य मंदिर टेमरी, विकासखंड धरसीवां, जिला रायपुर में “दाई-बाबा दिवस” हर्षोल्लास के साथ संपन्न हुआ। कार्यक्रम की विशेष अतिथि माननीय सरपंच श्री देवप्रसाद साहू, उपसरपंच हरिश यादव आदर्श ग्राम पंचायत टेमरी, सेक्टर प्रभारी डॉ. आशीष मेश्राम, दंत रोग विशेषज्ञ डॉ. नेहा बाफना, मितानिन ट्रेनर तथा समस्त मितानिनों की उपस्थित में
कार्यक्रम की शुरुआत मां सरस्वती एवं छत्तीसगढ़ महतारी की पूजा-अर्चना, सरस्वती वंदना, स्वागत गीत एवं अतिथियों के सम्मान के साथ की गई जिसमें बुजुर्ग दाई- बबा का स्वागत भेंट किया गया, इस अवसर पर स्वास्थ कार्ड जांच शिविर साथ मे दंत रोग विशेषज्ञ द्वारा दांतो की जांच, उपचार एवं परामर्श शिविर का सफल आयोजन हुआ।

राया (RAAYA) लेकर आया महाराष्ट्र का सबसे प्रिय पारंपरिक मेंसवियर अब रायपुर में..

रायपुर से पत्रकार सुनील साहू की रिपोर्ट — 3 जून 2025

पुणे, महाराष्ट्र से शुरू हुआ प्रतिष्ठित भारतीय मेंसवियर ब्रांड RAAYA ने आज रायपुर में अपने सबसे भव्य स्टोर का उद्घाटन किया। यह नया स्टोर पंडरी मेन रोड पर, निरंकारी फ़र्नीचर के बगल में, क्लॉथ मार्केट जंक्शन पर स्थित है और अब रायपुर का नया प्रीमियम डेस्टिनेशन बन गया है लक्ज़री इंडियन एथनिक वियर के लिए।स्टोर का उद्घाटन श्री नागराज जैन (संस्थापक, जयहिंद ग्रुप), निदेशक श्री दिनेश जैन एवं श्री मनुलाल अग्रवाल के कर-कमलों द्वारा किया गया, अन्य विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति । RAAYA के युवा संस्थापक श्री प्रेशित जैन अपनी दूरदृष्टि और स्टाइल की समझ के साथ इस ब्रांड को नए आयामों तक ले जाने के मिशन पर हैं — जिसमें परंपरा, शिल्पकला और आधुनिकता का सुंदर समन्वय एक सुलभ मूल्य पर प्रस्तुत किया गया है। RAAYA रायपुर में पारंपरिक परिधान की विविध रेंज को बेहद सोच-समझकर प्रदर्शित किया गया है:कुर्ता, सूट, इंडो-वेस्टर्न, बंधगला और शेरवानी। त्यौहारों से लेकर शादी-ब्याह तक, यह स्टोर पुरुषों के लिए सम्पूर्ण पारंपरिक वार्डरोब समाधान प्रदान करता है, जिसमें बारीकी, फैब्रिक की गुणवत्ता और उत्कृष्टता पर विशेष ध्यान दिया गया है।लॉन्च के अवसर पर श्री प्रेशित जैन ने कहा, “RAAYA वह स्थान है जहाँ विरासत आकांक्षा से मिलती है। रायपुर के साथ हम एक नए और जीवंत अध्याय का स्वागत करते हैं — जहाँ परंपरा को सिर्फ सहेजा नहीं जाता, बल्कि स्टाइल के साथ मनाया भी जाता है।”RAAYA का उद्देश्य वैश्विक स्तर पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराना है और भारत के पारंपरिक मेंसवियर ब्रांड्स में एक अग्रणी नाम बनना है, जो भव्यता, गरिमा और सांस्कृतिक जड़ों से जुड़ा अनुभव प्रदान करे।स्टोर का पता:पंडरी मेन रोड, निरंकारी फ़र्नीचर के बगल में, क्लॉथ मार्केट जंक्शन, रायपुर

प्रधान मंत्री मोदी की महत्वकांक्षी योजना स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत बना शौचालय चढ़ा भ्रष्टाचार की भेंट ।

मुकेश कुमार की रिपोर्ट सरगुजा – सरगुजा जिले के आकांक्षी लखनपुर विकासखंड के ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत मिशन योजना अंतर्गत बना शौचालय भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया है जहां ठेका प्रथा से शौचालय का आधा अधूरा निर्माण कर ठेकेदार और अधिकारियों ने मिली भगत से राशि का बंदर बांट कर लिया है। वहीं पहाड़ी कोरवा जनजाति के लोग खुले में शौच जाने को मजबूर है कहने को तो यह गांव ओडीएफ घोषित हो चुका है। लेकिन जमीनी स्तर पर हकीकत कुछ और ही नजर आ रहा है। पूरा मामला लुण्ड्रा विधानसभा अंतर्गत आकांक्षी विकासखंड लखनपुर के ग्राम बेलदगी के आश्रित ग्राम अलगा बेदोंपानी और आमापानी में एक दर्जन से अधिक पहाड़ी कोरवा जनजाति के लोगों का स्वच्छ भारत मिशन योजना 2024 – 25 अंतर्गत ठेकेदार और अधिकारियों की मिलीभगत से शौचालय का आधा अधूरा निर्माण कार्य कराया गया और किसी हितग्राही के एक शौचालय में दो टायलेट सीट बैठाया तो किसकी हितग्राही के गड्ढा बनाकर ठेकेदार और अधिकारियों कर्मचारियों ने मिली भगत कर शौचालय की राशि हजम कर लिया गया है। मिली जानकारी के मुताबिक बुटूल कोरवा पिता मंगल साय ,जगरोपण पिता मंगल साय ,लहंगा कोरवा पिता रामसाय,जेठी भाई पति मंगल सहाय, सुरेश कोरबा, बुधराम, कुंती कोरवा, रवि कोरवा, दुहनी कोरवा संहित अन्य पहाड़ी कोरवा जनजाति के लोगों का वर्ष 24 – 25 में स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत शौचालय स्वीकृत हुआ इसके बाद पंकज तिर्की नामक ठेकेदार आश्रित ग्राम अलका बैंदोपानी और आमापानी पहुंच पहाड़ी कोरवाओ का आधा अधूरा शौचालय निर्माण किया गया और जनपद कर्मचारी पंकज गुप्ता से मिली भगत कर ठेकेदार ने जियो टैग कराकर हितग्राहियों से 12-12 हजार रुपए खाते से निकलवा लिए शौचालय निर्माण कार्य पूर्ण बिना ही राशि हजम कर लिया गया आज हितग्राहियों को शौच के लिए खुले में जाना पड़ रहा है जिसे उन्हें कई प्रकार की परेशानियों का सामना करना पड़ता है। शौचालय निर्माण की आई तस्वीर स्वच्छ भारत मिशन योजना को चढ़ाते हैं नजर आ रही है वहीं अब देखने वाली बात होगी कि स्वच्छ भारत मिशन योजना में किए गए भ्रष्टाचार को लेकर किस प्रकार की कार्रवाई की जाती है।

कागजों में बना शौचालय निकाल लिया गया राशि
राष्ट्रपति के दत्तक पुत्र कहे जाने वाले पहाड़ी कोरबा जनजाति के लोगों की माने तो गांव में कई लोगों का शौचालय आधा अधूरा बना है और कई हितग्राहियों का शौचालय शुरू भी नहीं हुआ है। ठेकेदार गांव पहुंच गाड़ी बुक कर सभी हितग्राहियों को लखनपुर लाकर उनके खातों से 12-12000 निकलवा कर पैसा ले लिया गहै और शौचालय का निर्माण कार्य अधूरा छोड़ दिया गया है।

जिओ टेककर्ता पंकज गुप्ता

इस संबंध में जिओ टेक कर्ता पंकज गुप्ता से फोन पर बात करने पर उनके द्वारा बताया गया कि स्वच्छ भारत मिशन अंतर्गत बने शौचालय का जिओ टेक नहीं किया गया और ना ही राशि का आहरण किया गया है।

KORBA में लीडरशिप समिट ओपी जिंदल यूनिवर्सिटी द्वारा आयोजन, शिक्षा में AI के प्रभाव

कोरबा: ओपी जिंदल यूनिवर्सिटी, रायगढ़ द्वारा शनिवार, 25 मई 2025 को होटल गणेश इन, कोरबा में एक भव्य लीडरशिप समिट का आयोजन किया गया। इस समिट का मुख्य विषय था- “एआई-पावर्ड एजुकेशन”, जिसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के शिक्षा प्रणाली पर पड़ रहे प्रभावों और उसके भविष्य को लेकर विस्तार से चर्चा की गई।

शाम 6 बजे से 9 बजे तक चले इस कार्यक्रम में कोरबा क्षेत्र के कुल 25 स्कूल और कॉलेजों के प्राचार्य बतौर प्रतिभागी उपस्थित रहे। इस समिट का उद्देश्य शिक्षा जगत के नेतृत्वकर्ताओं के साथ मिलकर यह समझना था कि किस प्रकार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) जैसी उभरती तकनीकों को शिक्षा में शामिल कर छात्रों को अधिक सशक्त और तैयार किया जा सकता है।

कार्यक्रम के मुख्य वक्ता ओपी जिंदल यूनिवर्सिटी के कुलपति डॉ. आर. डी. पाटीदार थे। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि “एआई अब केवल भविष्य की बात नहीं रही, बल्कि यह वर्तमान का हिस्सा बन चुकी है, जो शिक्षा, मूल्यांकन और अधिगम के तरीकों को तेजी से बदल रही है। हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि तकनीक शिक्षक की भूमिका को मजबूत करे, न कि उसे प्रतिस्थापित करे।”

दूसरे सत्र में ओपीजयू इनोवेशन सेंटर के सीईओ डॉ. दीपायन प्रियदर्शी ने “इनोवेशन और एंटरप्रेन्योरशिप” विषय पर प्रस्तुति दी। डॉ. प्रियदर्शी ने “इनोवेशन एवं एंटरप्रेन्योरशिप” (नवाचार एवं उद्यमिता) विषय पर एक ज्ञानवर्धक प्रस्तुति दी। उन्होंने शैक्षणिक संस्थानों में रचनात्मक सोच, जोखिम लेने की क्षमता और स्टार्टअप संस्कृति को बढ़ावा देने वाले पारिस्थितिकी तंत्र के निर्माण पर जोर दिया।

सभी उपस्थित प्राचार्यों ने ओपी जिंदल यूनिवर्सिटी की इस पहल की सराहना की और सुझाव दिया कि इस प्रकार के कार्यक्रम भविष्य में भी नवीन विषयों पर आयोजित किए जाएं, जिससे स्कूल और कॉलेज के छात्रों को भी उभरती तकनीकों के बारे में जानकारी मिले और वे समय के साथ आगे बढ़ सकें।

कार्यक्रम का संचालन ओपी जिंदल यूनिवर्सिटी की टीम द्वारा कुशलता से किया गया। यह समिट कोरबा क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण शैक्षिक आयोजन साबित हुआ और प्रतिभागियों में तकनीकी जागरूकता और सहयोग की भावना को और अधिक मजबूत किया।